गांधी सेतु की दूसरी लेन का हुआ उद्घाटन, अब नहीं फसेंगे यात्री जाम में
महात्मा गांधी सेतु की पूर्वी लेन का उद्घाटन हो गया है। अब पटना समेत पूरे उत्तर बिहार के लोगों को गांधी सेतु पर ट्रैफिक जाम का सामना नहीं करना पड़ेगा। आज से गांधी सेतु की दोनों लेनों पर आवागमन शुरू कर दिया गया। केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने उद्घाटन कार्यक्रम के दौरान फीता काटकर गांधी सेतु की पूर्वी लेन का लोकार्पण किया। यह पुल राजधानी पटना को राज्य के उत्तरी जिलों से जोड़ता है। नितिन गडकरी ने ₹1742 करोड़ से बनी गांधी सेतु की पूर्वी लेन के साथ-साथ ₹13,585 करोड़ की 15 राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं का उद्घाटन एवं शिलान्यास किया।
गंगा नदी पर बने गांधी सेतु की लंबाई 5.575 किलोमीटर है। इस पुल की पूर्वी लेन का काम 2017 में शुरू हुआ था। गांधी सेतु की पश्चिमी लेन को जून 2020 में चालू कर दिया गया था। तब से एक ही लेन में दोनों साइड से वाहन आ जा रहे थे। इस वजह से गांधी सेतु पर बहुत लंबा ट्रैफिक जाम लगता था। ट्रैफिक जाम में फंसने के चलते कई बार लोगों की फ्लाइट, ट्रेनें छूट जाती थीं। यहां तक कि शादियां भी रुक जाती थीं। कई बार तो एम्बुलेंस के जाम में फसने के कारण कई मरीजों की जान पे बन आती थी।
गांधी सेतु की दोनों लेन चालू होने के बाद अब इस सेतु पर रफ्तार से गाड़ियां दौड़ेंगी। अब पटना से हाजीपुर का सफर बिना ट्रैफिक जाम के पूरा किया जा सकेगा। गांधी सेतु कभी एशिया का सबसे लम्बा पुल के लिए जाना जाता था। गांधी सेतु का निर्माण 1982 में हुआ था। मई 1982 में तात्कालिक प्रधानमंत्री इंदिरा गाँधी के द्वाराइसका उद्घाटन किया था, तब इसे बनाने पर ₹87 करोड़ रुपए खर्च किए गए थे। अब सिर्फ सुपर स्ट्रक्चर बदलने के लिए ₹1742 करोड़ रुपए खर्च किए गए। मई 1982 में उद्घाटन के महज 20 वर्ष के अंदर इसमें तकनिकी खराबी सुरु हो गए थी।
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